एनडीएमसी अध्यक्ष ने पालिका केंद्र में राष्ट्रीय ध्वज फहराया ।

नई दिल्ली

नई दिल्ली नगरपालिका परिषद (एनडीएमसी) के अध्यक्ष श्री केशव चंद्र ने आज भारत के 79वें स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर एनडीएमसी मुख्यालय – पालिका केंद्र में राष्ट्रीय ध्वज फहराया।

एनडीएमसी मुख्यालय में ध्वजारोहण के अवसर पर, एनडीएमसी के उपाध्यक्ष – श्री कुलजीत सिंह चहल, परिषद सदस्य – श्री अनिल वाल्मीकि, एनडीएमसी सचिव – श्री तारिक थॉमस, वरिष्ठ अधिकारीगण, स्कूली छात्र – छात्राएं और शिक्षक भी उपस्थित थे।

राष्ट्र की स्वतंत्रता और शत्रुओं से देश की सीमाओं की रक्षा के लिए अपने प्राणों की आहुति देने वाले महान स्वतंत्रता सेनानियों और सशस्त्र बलों तथा अर्धसैनिक बलों के जवानों को स्मरण और श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए, श्री केशव चंद्रा ने स्वतंत्रता संग्राम और राष्ट्र की सुरक्षा में उनकी महत्वपूर्ण भूमिका की सराहना की।

स्वतंत्रता दिवस पर अपने संबोधन की शुरुआत करने से पहले, श्री चंद्रा ने वीर कनकलता बरुआ की कहानी सुनाई, जिन्होंने ब्रिटिश शासकों के विरुद्ध तिरंगा फहराने के लिए अपने प्राणों की आहुति दे दी थी। उन्होंने बताया कि कनकलता का बलिदान हमें सिखाता है कि उम्र भले ही छोटी हो, लेकिन देशभक्ति का साहस असीम होता है। इसलिए हमें देश सेवा के लिए सदैव बलिदान देने के लिए तत्पर रहना चाहिए।

श्री चंद्रा ने सिंदूर ऑपरेशन में सशस्त्र बलों की वीरता का विशेष रूप से उल्लेख किया और कहा कि इस वर्ष हमें ऑपरेशन सिंदूर के शौर्य और साहस की कहानी को नहीं भूलना चाहिए, जिसके दौरान हमारी सेनाओं ने न केवल अपनी तकनीकी क्षमता से देश की रक्षा की, बल्कि दुश्मन देश को भी परास्त किया और इसके लिए हमें वैज्ञानिकों और इंजीनियरों के अथक प्रयासों को भी नहीं भूलना चाहिए।

श्री चंद्रा ने कहा कि आज़ादी हमें सिर्फ़ अधिकार ही नहीं देती, बल्कि यह हमें अपने कर्तव्यों के प्रति जागरूक और ज़िम्मेदार भी बनाती है। उन्होंने कहा कि हमारे स्वतंत्रता सेनानियों ने एक ऐसे भारत का सपना देखा था जो शिक्षित, आत्मनिर्भर, स्वच्छ पर्यावरण, न्यायप्रिय और समृद्ध हो। आज उस सपने को साकार करना हमारा कर्तव्य है।

एनडीएमसी देश की राजधानी के इस ऐतिहासिक और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर महत्वपूर्ण क्षेत्र की देखरेख करने वाली संस्था के रूप में अपनी ज़िम्मेदारी समझती है। हमारा उद्देश्य न केवल बुनियादी सुविधाएँ प्रदान कराना है, बल्कि इस क्षेत्र को वैश्विक मानकों के अनुरूप विकसित करना भी है।

श्री चंद्रा ने कहा कि आज़ादी के इस पावन पर्व पर मैं  परिषद के सभी सदस्यों, अधिकारियों, कर्मचारियों, स्कूली बच्चों और नागरिकों से इन लक्ष्यों की प्राप्ति में सहयोग करने का अनुरोध करता हूँ, ताकि हम यहाँ के नागरिकों और सेवा उपभोक्ताओं को बेहतर सेवाएँ प्रदान कर सकें।