उज्जैन के श्री महाकाल महालोक और महाकालेश्वर मंदिर में जियो ट्रू 5जी सेवा की शुरुआत

मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने जियो ट्रू 5जी सेवा लॉन्च की
• श्री महाकाल महालोक अब मध्यप्रदेश का पहला जियो ट्रू 5जी कॉरिडोर बना
• लाखों श्रद्धालु अब बिना किसी अतिरिक्त शुल्क के जियो ट्रू 5जी और ट्रू5जी वाईफाई सेवा का लाभ उठा सकेंगे

जियो ने मध्यप्रदेश के महाकालेश्वर मंदिर और श्री महाकाल महालोक में जियो ट्रू5जी सेवा की शुरुआत कर दी है। भगवान शिव के लाखों भक्त अब इस सेवा का का लाभ बिना किसी अतिरिक्त शुल्क के उठा सकेंगे। बुधवार को एक कार्यक्रम में मध्यप्रदेश के माननीय मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने जियो ट्रू 5जी और जियो ट्रू5जी वाई-फाई सेवा को लॉन्च किया।

कार्यक्रम के दौरान जियो ने 5जी के कई फायदे गिनाए, साथ ही स्वास्थ्य के क्षेत्र में ‘जियो कम्युनिटी क्लिनिक’ और एआर-वीआर डिवाइस जियो-ग्लास का डेमो भी दिया। और बताया कि कैसे इसके जरिए मध्यप्रदेश के लोगों के जीवन में क्रांतिकारी बदलाव आएगा।

इस मौके पर बोलेत हुए राज्य के माननीय मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि ”उज्जैन में महाकालेश्वर मंदिर और श्री महाकाल महालोक धार्मिक महत्व के स्थल हैं। देश और दुनिया भर से लाखों भक्त भगवान शिव का आशीर्वाद लेने हर दिन इस मंदिर में आते हैं। मध्यप्रदेश और उसके लोग, जियो की ट्रू 5जी सेवा से अत्यधिक लाभान्वित होंगे।

मुझे बताते हुए ये खुशी हो रही है कि 30 दिन से भी कम समय में यानी जनवरी 2023 के महीने में इंदौर भी जियो ट्रू 5जी नेटवर्क से जुड़ जाएगा। जियो ट्रू 5जी आम आदमी, छात्र, व्यवसायी, आईटी, स्वास्थ्य पेशेवर के साथ कृषि, शिक्षा, चिकित्सा, सूचना प्रौद्योगिकी और विनिर्माण जैसे क्षेत्रों में नए अवसरों और अतिरिक्त रोजगार के साथ बदलाव लाएगा। आमजन और सरकार आपस में रियल टाइम में जुड़ सकें, इसका आधार 5जी बनेगा। सरकारी योजना हाशिए पर खड़े अंतिम व्यक्ति तक पहुंचे इसके लिए भी 5जी उपयोगी होगा’।’

इस अवसर पर टिप्पणी करते हुए जियो के प्रवक्ता ने कहा, “हमें श्री महाकाल महालोक से जियो ट्रू 5जी सेवाएं शुरू करने का सौभाग्य मिला है, यह अब मध्य प्रदेश का पहला जियो ट्रू 5जी कॉरिडोर है। जल्द ही, ट्रू 5जी नेटवर्क पूरे मध्य प्रदेश में तेजी से फैलेगा। मध्यप्रदेश में जियो इकलौता 5जी नेटवर्क है। इस तकनीक का फायदा हर नागरिक को मिले इसके लिए जियो के इंजीनियर चौबीसों घंटे काम कर रहे हैं। हम एमपी सरकार के आभारी हैं कि उन्होंने डिजिटलीकरण को आगे बढ़ाने में अपना पूर्ण समर्थन दिया”