पीएफसी ने वित्त वर्ष 2023-24 और वित्त वर्ष 2024-25 के लिए विद्युत मंत्रालय के साथ समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए।

नई दिल्ली

सबसे बड़े नवीकरणीय ऋण पोर्टफोलियो के साथ, पीएफसी भारत के ऊर्जा परिवर्तन का भी नेतृत्व करता है।

पावर फाइनेंस कॉर्पोरेशन लिमिटेड (पीएफसी) ने डीपीई के प्रदर्शन मूल्यांकन प्रणाली के अनुसार 23 अक्टूबर 2023 को वित्त वर्ष 2023-24 और वित्त वर्ष 2024-25 के लिए बिजली मंत्रालय (एमओपी) के साथ एक समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किए। समझौता ज्ञापन पर ऊर्जा सचिव श्री पंकज अग्रवाल और श्रीमती परमिंदर चोपड़ा (सीएमडी, पीएफसी) ने विद्युत मंत्रालय और पीएफसी के वरिष्ठ अधिकारियों की उपस्थिति में हस्ताक्षर किए। पीएफसी समेकित आधार पर भारत में सबसे बड़ा महारत्न सीपीएसई और सबसे बड़ा एनबीएफसी है। सबसे बड़े नवीकरणीय ऋण पोर्टफोलियो के साथ, पीएफसी भारत के ऊर्जा परिवर्तन का भी नेतृत्व करता है। इसके अतिरिक्त, पीएफसी ने बुनियादी ढांचे और लॉजिस्टिक्स क्षेत्र में परियोजनाओं को वित्त पोषित करना भी शुरू कर दिया है।

डीपीई की एमओयू प्रदर्शन मूल्यांकन प्रणाली का उपयोग विभिन्न वित्तीय और परिचालन मापदंडों पर सीपीएसई के लिए वार्षिक लक्ष्य निर्धारित करने के लिए किया जाता है, और सीपीएसई के समग्र प्रदर्शन को ऐसे एमओयू लक्ष्यों के विरुद्ध मूल्यांकित किया जाता है। पीएफसी को पिछले दो वर्षों (यानी वित्त वर्ष 2020-21 और वित्त वर्ष 2021-22) के दौरान “उत्कृष्ट” की उच्चतम रेटिंग से सम्मानित किया गया है, और वित्त वर्ष 2022-23 के लिए रेटिंग जल्द ही जारी होने की उम्मीद है।

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