करीब बारह दिन पहले वह चकमा देकर पुलिस की घेराबंदी से भाग निकला था और अभी तक भेष बदल कर छिपा फिर रहा है। मगर दो दिन पहले उसने एक वीडियो जारी कर जिस तरह अपने ऊपर पुलिस कार्रवाई को पूरे सिख समुदाय पर हमला बताया और बैसाखी पर ‘सरबत खालसा’ की बैठक बुलाने का आह्वान किया है, उससे जाहिर है कि उसके मंसूबे कमजोर नहीं हुए हैं।
उसने वीडियो में कहा भी है कि ‘मैं पूरे जोश में हूं, मुझे कोई नुकसान नहीं पहुंचा सकता’। इस वीडियो के आने के बाद पुलिस एक बार फिर सक्रिय हो गई है। कयास लगाए जा रहे हैं कि वह आत्मसमर्पण कर सकता है। मगर उसके वीडियो संदेश से लगता नहीं कि वह आसानी से काबू में आने वाला है। उसने पुलिस कार्रवाई को सिख समुदाय पर हमला बता कर वही खेल खेलने की कोशिश की है, जो भिंडरांवाले ने खेला था।